Sunny Verma Haridwar  News 8791204683

Sunny Verma Haridwar

News 8791204683

 

 

हरिद्वार। मां मंशा देवी मंदिर विवाद प्रतिदिन बढ़ता ही जा रहा है। मंशा देवी में दुकान का संचालन करने वाली शशी ठाकुर के द्वारा न्यायालय में प्रार्थना पत्र देने और न्यायालय द्वारा अखाड़ा परिषद अध्यक्ष समेत छह लोगों के खिलाफ मुकद्मा दर्ज करने के आदेश के बाद मामला और तूल पकड़ने लगा है। हालांकि मंदिर का संचालन करने वाले कथित अध्यक्ष दुकान वन विभाग की बताकर अपना पल्ला झाड़ने की कोशिश कर रहे हैं, किन्तु कहने भर से मामला निपटने वाला नहीं है।

 

 

 

मिली जानकारी के मुताबिक शशी ठाकुर के चाचा रामा करीब 40 वर्षों से मंशा देवी स्थित दुकान को संचालन करते आ रहे थे। उनकी मृत्यु के बाद से उनकी भतीजी शशी दुकान का संचालन कर ही हैं। शशी ठाकुर का आरोप है कि वह नियमित दुकान का किराया देती आ रही है। जबकि वर्तमान कथित ट्रस्ट अध्यक्ष दुकान अब वन विभाग की बताने लगे हैं। शशी ठाकुर का कहना है कि जब दुकान वन विभाग की थी तो उनसे मंशा देवी मंदिर के संचालकों ने किराया क्यों वसूला।

 

 

 

बता दें कि मां मंशा देवी मंदिर को लेकर हाईकोर्ट में वाद दायर होने के बाद वन विभाग और मंदिर ट्रस्ट हरकत मेें आया। वर्ष 2014 में वन विभाग ने मंशा देवी की 0.075 हेक्टेयर भूमि को अपना बताते हुए 15 दिनों के अंदर खाली करने का मंदिर ट्रस्ट को नोटिस दिया। मंदिर ट्रस्ट अध्यक्ष व सदस्यों को इस बात की जानकारी होने के बाद भी वह वन विभाग के स्वामित्तव वाली भूमि का किराया स्वंय लेते रहे। जिसकी रसीद भी मंदिर ट्रस्ट ने किराएदारों को दी। मामला तूल पकड़ने पर वर्ष 2017 से किराया लेना तो जारी रहा, किन्तु किराए की रसीद देना बंद कर दिया गया।

 

 

शशी ठाकुर का कहना है कि वह अभी तक सम्पत्ति को मंशा देवी के अधीन ही मानकर चल रहे थे। वर्ष 2022 में जब हरिद्वार सीजीएम कोर्ट से उनको नोटिस दिया गया तो पता चला की भूमि वन विभाग की है। शशी ठाकुर का कहना है कि अब भूमि वन की बतायी जा रही है तो उन्हें पूर्व में ट्रस्ट के अध्यक्ष द्वारा दुकान खाली करने का नोटिस कैसे दिया गया। कैसे यह लोग वन विभाग की भूमि का किराया लेते रहे। यदि सम्पत्ति के यह लोग स्वामी नहीं थे तो नोटिस किस अधिकार के तहत इनके द्वारा दिया गया। उनका कहना है कि अभी तक मंशा देवी को निजि सम्पत्ति बताकर माल इकट्ठा करने वाले कोर्ट के आदेश के बाद अचानक दुकानों को वन विभाग की कहने लगे। उनका कहना है कि मंशा देवी ट्रस्ट अध्यक्ष द्वारा दी गयी किराए की रसींदें और अन्य कागजात को वे कोर्ट के सम्मुख प्रस्तुत कर कड़ी कार्यवाही की मांग करेंगी।

Related posts

Leave a Comment