*यूपी में गेहूं खरीद शुरू, ऐसे यहां करें रजिस्ट्रेशन, इन डॉक्यूमेंट्स की पड़ेगी जरूरत*

*यूपी में गेहूं खरीद शुरू, ऐसे यहां करें रजिस्ट्रेशन, इन डॉक्यूमेंट्स की पड़ेगी जरूरत*

 

*लखनऊ*

उत्तर प्रदेश में आज से गेहूं खरीद शुरू हो गया है। क्रय केंद्रों पर इसको लेकर तैयारियां पूरी कर ली गई हैं। किसानों को गेहूं बेचने के लिए ऐसे बेवसाइट पर राजिस्ट्रेशन कराना होगा। 15 मार्च से पंजीकरण चल रहा है।

 

उत्तर प्रदेश में आज से गेहुं खरीद का काम शुरू हो गया है। राजधानी में गेहूं खरीद की तैयारी पूरी कर ली गई है। इस बार 42 केन्द्रों से 19000 मीट्रिक टन गेहूं खरीद का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। पिछले वर्ष भी गेहूं खरीद के लिए इतने ही केन्द्र बनाए गए थे लेकिन कोई लक्ष्य निर्धारित नहीं किया गया था। गेहूं खरीद के लिए केन्द्रों पर पंखा, इलेक्ट्रानिक तराजू, झाड़न, नमी मापक यंत्र और बोरे का इंतजाम हो गया है।

 

*पीसीएफ 33 समितियों से करेगा खरीद*

पीसीएफ इस बार अपनी 33 साधन सहकारी समितियों के जरिए किसानों से गेहूं खरीदेगा। राजधानी में सबसे अधिक क्रय क्रेन्द्र पीसीएफ के हैं।  वहीं आपूर्ति विभाग की विपणप शाखा ने आठ केन्द्र खोले हैं। जबकि भारतीय खाद्य निगम ने गेहूं खरीद के लिए गंगागंज में एक केन्द्र स्थापित किया है।

240 किसानों ने कराया  रजिस्ट्रेशन

किसानों को गेहूं बेचने के लिए पहले अपना रजिस्ट्रेश fcs.up.gov.in पर कराना होगा। अभी तक करीब 250 किसानों ने अभी तक रजिस्ट्रेशन कराया है। पंजीकरण के लिए किसान को आधार कार्ड, बैंक खाता नम्बर, खतौनी आदि की जरूरत पड़ेगी। रजिस्ट्रेशन के लिए पोर्टल 15 मार्च से शुरू है।

*बीते वर्ष 17813 मीट्रिक टन गेहूं खरीदा गया*

बीते वर्ष राजधानी में 17813 मीट्रिक टन गेहूं खरीदा गया था। जबकि सरकार की ओर से कोई लक्ष्य निर्धारित नहीं किया गया था। इससे 5696 किसानों को न्यूनतम समर्थन मूल्य योजना का लाभ मिला था। जिला खाद्य एवं विपणन अधिकारी निश्चल आनंद ने बताया कि गेहूं खरीद की तैयारी पूरी है। रबी विपणन वर्ष 2021-22 में खरीद का लक्ष्य निर्धारित नहीं किया गया था। जबकि 20-21 में लक्ष्य 25700 मीट्रिक टन था।  सभी केन्द्रों पर बोरे, इलेक्ट्रानिक तराजू, झाड़न, पंखा व नमी मापक यंत्र का इंतजाम किया गया है।

 

*इस वर्ष एमएसपी में सबसे कम *बढ़ोतरी*

 

बीते 10 वर्षों में गेहूं के न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) में सबसे कम बढ़ोत्तरी चालू वित्तीय वर्ष में हुई है। इस बार गेहूं के समर्थन मूल्य पर मात्र 40 रुपए प्रति कुंतल का इजाफा किया गया है। इस बार 2015 रुपए प्रति कुंतल की दर से किसानों को गेहूं के दाम मिलेंगे।

2018-19 में 110 रुपए प्रति कुंतल बढ़ी थी एमएसपी

*चार वर्ष पहले 2018-19 में सरकार ने एमएसपी में सबसे अधिक* बढ़ोत्तरी की थी। इस वर्ष एमएसपी पर 110 रुपए का रिकार्ड इजाफा किया गया था। 1625 प्रति कुंतल का रेट बढ़कर 1735 रुपए प्रति कुंतल हो गया था। जबकि 2019-20 में 105 रुपए कुंतल का इजाफा हुआ था।

*बीते 10 वर्षो में एमएसपी पर बढ़े 730 रुपए*

बीते 10 वर्षो में गेहूं के समर्थन मूल्य में करीब 730 रुपए प्रति कुंतल का इजाफा हुआ है। इस दौरान हर वर्ष समर्थन मूल्य में वृद्धि हुई है । रबी विपणन वर्ष 2012-13 में गेहूं की एमएसपी 1285 रुपए प्रति कुंतल थी। जोकि 2022-23 में बढ़कर 2015 हो गई है।

 

*गेहूं की एमएसपी*

वर्ष                      एमएसपी      बढ़ोत्तरी

(प्रति कुंतल)   रूपए में

2012-13              1285

2013-14              1350         65

2014-15               1400       50

2015-16               1450       50

2016-17               1525       75

2017-18               1625       100

2018-19               1735      110

2019-20              1840      105

2020-21             1925       85

2021-22             1975       50

2022-23             2015       40

खरीद के लिए तैयार हैं क्रय केन्द्र

सरोजनीनगर में पाँच गेहूं क्रय केंद्र खोले गए हैं, जिनमें चार पीसीएफ और एक आरएफसी का है। साधन सहकारी समिति नारायणपुर, कुरौनी,बंथरा व सोहावा-जैतीखेड़ा और सहकारी संघ गौरा केन्द्रों पर बोरा, इलेक्ट्रॉनिक तराजू, छन्ना, पंखा व बैनर सहित अन्य जरूरी स्टेशनरी उपलब्ध हो चुकी है। कुरौनी में बोरों के ऊपर लगाई जाने वाली मोहर  उपलब्ध नहीं है। वहीं इन केन्द्रों पर अभी तक 31 किसान पंजीकरण करा चुके हैं। नगराम क्षेत्र के साधन सहकारी समिति समेसी, नगराम दक्षिण,देवती,गढ़ा, इस्माइल  नगर, बहरौली केंद्रों तैयारी पूरी है। गेहूं सफाई के लिए पंखा,डस्टर,बोरी मौजूद हैं।

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