*मनवारी में सैकड़ों आदिवासियों ने बिजली जलाने से किया इनकार,जे ई साहब के पास गये*
अमित श्रीवास्तव कुसमी
मध्य प्रदेश के यशस्वी मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के द्वारा प्रदेश में ₹100 बिजली के बिल भेजने के निर्देश दिए गए हैं जिससे प्रदेश की जनता कम से कम बिजली का बिल देकर अपनी व्यवस्था सुदृढ़ कर सके मगर आदिवासी अंचल में बिजली का बिल मनमानी तौर पर विभाग के द्वारा भेजा जा रहा है घर बैठे मीटर रीडिंग ली जा रही है और मन मुताबिक बिजली के बिल आदिवासियों को थमाये जा रहे हैं।
कुछ ऐसा ही मिलता जुलता मामला सीधी जिले के कुसमी आदिवासी अंचल में के ग्राम पंचायत नोढिया देवार्थ के बनवारी गांव से निकल कर आया है जहां आदिवासियों ने बिजली जलाने से इनकार कर दिया है और बिजली कटवाने के लिए वाहन की व्यवस्था करके मड़वास जेई के पास पहुंचे गये हैं सुनने में शब्द अजीब भले ही लग रहा हो लेकिन आदिवासी अंचल कुसमी में आदिवासी परिवार गरीबी से तंग है और उनके घरो मे विभाग ने 1500 रुपए से ज्यादा का बिजली का बिल उनके हाथ में थमाये जा रहे है। । जिससे आदिवासी परिवार का पूरा एस्टीमेट खराब हो गया है।और वो विल भरने मे असमर्थ है।अधिक बिल लगातार आने से परेशान होकर आदिवासी परिवार बिजली नहीं जलाने का फैसला ले लिया,
और सभी लोग थोडा थोडा पैसा इकट्ठा करके कुसमी से वाहन की व्यवस्था करके मड़वास जे ई से मिलने मडवास पहुंचे हैं और यदि उनके समस्या का समाधान नहीं हुआ विजली विल कम नहीं हुआ तो फिर बिजली भी आदिवासी परिवार कटवा सकते हैं ऐसा उन्होंने मीडिया से कहा है।
उन्होंने यह भी बताया कि यह समस्या वह अपने क्षेत्रीय विधायक कुंवर सिंह टेकाम के पास जाकर सुनाने वाले थे। मगर विधायक जी से उनकी मुलाकात नहीं हो पाई लेकिन लौटकर वह विधायक से मिलेंगे और अपनी समस्या से उन्हें अवगत कराएंगे वहीं एक ओर देखा जाए तो जिस तरह से प्रदेश सरकार के द्वारा बिजली बिल प्रदाय करने के निर्देश दिए गए हैं उस पर कहीं न कहीं बिजली का बिल विभाग के द्वारा ज्यादा भेजा जा रहा है जिससे कहीं न कहीं क्षेत्रीय विधायक एवं भाजपा पार्टी की छवि धूमिल हो रही है मामले को संज्ञान में लेने की आवश्यकता बुद्धिजीवी समझते हैं।